Kuch Khona Kuch Paana

कुछ खोना, कुछ पाना चलता रहता है
कुछ खोना, कुछ पाना चलता रहता है
साँसों का अफ़साना चलता रहता है
कुछ खोना, कुछ पाना चलता रहता है

अब भी चिड़िया चुग जाती है खेतों को
अब भी चिड़िया चुग जाती है खेतों को
अब भी चिड़िया चुग जाती है खेतों को
दो-इक दिन पछताना चलता रहता है
दो-इक दिन पछताना चलता रहता है
साँसों का अफ़साना चलता रहता है

कुछ बच जाते हैं तो कुछ मिट जाते हैं
कुछ बच जाते हैं तो कुछ मिट जाते हैं
कुछ बच जाते हैं तो कुछ मिट जाते हैं
वक़्त का आना-जाना चलता रहता है
वक़्त का आना-जाना चलता रहता है
साँसों का अफ़साना चलता रहता है

हिंदू-मुस्लिम आते-जाते रहते हैं
हिंदू-मुस्लिम आते-जाते रहते हैं
हिंदू-मुस्लिम आते-जाते रहते हैं
नुक्कड़ का मयख़ाना चलता रहता है
नुक्कड़ का मयख़ाना चलता रहता है

कुछ खोना, कुछ पाना चलता रहता है
साँसों का अफ़साना चलता रहता है
कुछ खोना, कुछ पाना चलता रहता है



Credits
Writer(s): Jagjit Singh, Sanjay Massom
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