Sometimes, Sometimes

कभी कभी मेरे दिल में ख्याल आता है
कि ज़िंदगी तेरी ज़ुल्फों की नर्म छांव मैं गुजरने पाती
तो शादाब हो भी सकती थी

यह रंज-ओ-ग़म की सियाही, जो दिल पे छाई है
तेरी नज़र की शुआओं में खो भी सकती थी

मगर यह हो न सका और अब ये आलम हैं
कि तू नहीं, तेरा ग़म, तेरी जुस्तजू भी नहीं

गुज़र रही है कुछ इस तरह ज़िंदगी जैसे
इससे किसी के सहारे की आरज़ु भी नहीं

न कोई राह, न मंज़िल, न रौशनी का सुराग
भटक रही है अंधेरों में ज़िंदगी मेरी

इन्ही अंधेरों में रह जाऊँगा कभी खो कर
मैं जानता हूँ मेरी हम-नफस, मगर यूंही

कभी कभी मेरे दिल में ख्याल आता है



Credits
Writer(s): John T Matarazzo
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