O Manchali Kahan Chali

Kishore Da कहते थे
कि "भई, दुनिया का दस्तूर है
जो बहुत ज़्यादा intelligent होता है
लोग उसको पागल और दीवाना कहते हैं
और मैं, मैं वही हूँ जो आप समझ रहे हैं
अरे, भई, पागल और दीवाना नहीं, intelligent
अगर यक़ीन नहीं आता
तो ज़रा हवा में note और काग़ज़ उड़ा के देखो
Kishore किसके पीछे भागता है"

लेकिन एक बात समझ में नहीं आती
जब car बिगड़ी है तो लोग कहते हैं कि, "बंद है"
और जब लड़की बिगड़ी है तो लोग कहते हैं, "चालू है"

ओ, मनचली, कहाँ चली?
ओ, मनचली, कहाँ चली?
देख, देख, देख, मुझसे ना शर्मा
एक, एक, एक, मैं हूँ एक भँवरा
ओ, और तू कली

ओ, मनचली, कहाँ चली?
ओ, मनचली, कहाँ चली?
देख, देख, देख, मुझसे ना शर्मा
एक, एक, एक, मैं हूँ एक भँवरा
Hmm, और तू कली

ओ, मनचली, कहाँ चली?
ओ, मनचली, कहाँ चली?

होंठों पे लेके तेरा नाम
आई है रंग भरी शाम
फूलों के छलके हैं जाम
भँवरों ने दिल लिए थाम

ऐसे में, हे-हे-हो, हो-हो-हो
ऐसे में तोड़ के प्रेम की डोरी
चकोरी, ओ गोरी, तू कहाँ चली?

ओ, मनचली, कहाँ चली?
ओ, मनचली, कहाँ चली?

दुनिया से नहीं डरेंगे
कब तक हम आहें भरेंगे
आजा, दो बातें करेंगे
छुप के मुलाक़ातें करेंगे

ये सच है, हे-हे-हो, हे-हे-हो
ये सच है, मैं हूँ एक दीवाना
ये माना, ना जाना, तू कहाँ चली?

ओ, मनचली, कहाँ चली?
ओ, मनचली, कहाँ चली?

रुत ऐसी आई हुई है
बदली भी छाई हुई है
तू क्यूँ घबराई हुई है?
मुझसे शरमाई हुई है

प्यार में, हे-हे-हो, हे-हे-हो
प्यार में यार से आँखें चुरा के
सता के, जला के, तू कहाँ चली?

ओ, मनचली, कहाँ चली?
ओ, मनचली, कहाँ चली?
देख, देख, देख, मुझसे ना शर्मा
एक, एक, एक, मैं हूँ एक भँवरा
ओ-हो-हो-हो, और तू कली

ओ, मनचली, कहाँ चली?
ओ, मनचली, कहाँ चली?



Credits
Writer(s): Anand Bakshi, R Burman
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