Tujhme Hai Aag Baki

हौसले थके नहीं
उमीदें भी बुझी नहीं
रात गुज़री, आएगी
फिर सुबह नयी
हर नज़र ये केह रही
क्यूँ नबी ये सेह रही

जूनून सर चढ़ा ले
बहे खुद बना ले
तुझमें है आग बाकी
(है आग बाकी)

तू अम्बर झुका दे
ज़मीन को हिला दे
तुझमें है आग बाकी
(है आग बाकी)

ज़िन्दगी से फिर नयी
एक मुलाकात है
दर्द के किस्से नहीं
मुस्कानो की बात है

हर गुज़रते लम्हें को
भरोसा अब यही
खुशियों के मौसम को
तेरा घर पता है सही

इंतज़ार होगा ख़तम
भर जाएंगे सारे ज़ख़्म
समय खुद बनेगा मरहम

इंतज़ार होगा ख़तम
भर जाएंगे सारे ज़ख़्म
समय खुद बनेगा मरहम

जूनून सर चढ़ा ले
बहे खुद बना ले
तुझमें है आग बाकी
(है आग बाकी)

तू अम्बर झुका दे
ज़मीन को हिला दे
तुझमें है आग बाकी
(है आग बाकी)



Credits
Writer(s): Sonal Pradhan
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link