Naagin Jaisi Kamar Hila - From "Sangeetkaar"

चेहरा जैसे चाँद खिला, मुझसे दूर कहीं ना जा
काहे शरमाए जाती है? मेरा दिल धड़काती जा
अरबी गानों में होता है, वैसे अंग-अंग फ़ड़का, हाँ

नागिन जैसी कमर हिला, ah

नागिन जैसी कमर हिला, ah

नागिन जैसी कमर हिला, ah

ते-ते-तेरी कमर के आशिक़ हैं कितने, गली-गली में रहते हैं
तेरे हुस्न से पागल होके, "कमसिन कली" भी कहते हैं

आशिक़ तेरे ना तड़पा, baby, हमको आज दिखा
भोले-भाले हैं हम तो, प्यार से हमको आज सिखा
धुन जो छेड़े आज सपेरा, पागल बीन पे होती जा, हाए

नागिन जैसी कमर हिला, ah

नागिन जैसी कमर हिला, ah

नागिन जैसी कमर हिला, ah



Credits
Writer(s): Tony Kakkar
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