Malang Title Track Remix

क़ाफ़िरा तो चल दिया इस सफ़र के संग
क़ाफ़िरा तो चल दिया इस सफ़र के संग
मंज़िलें ना डोर कोई, लेके अपना रंग

रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
मैं मलंग, हाय रे

मैं बैरागी सा जियूँ, ये भटकता मन
मैं बैरागी सा जियूँ, ये भटकता मन
अब कहाँ ले जाएगा ये आवारापन?

रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
मैं मलंग, हाय रे

है नसीबों में सफ़र तो मैं कहीं भी क्यूँ रुकूँ? ओ
है नसीबों में सफ़र तो मैं कहीं भी क्यूँ रुकूँ?
छोड़ के आया किनारे, बह सकूँ जितना बहूँ
दिन गुज़रते ही रहे यूँ ही बेमौसम
रास्ते थम जाएँ, पर रुक ना पाएँ हम

रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
रहूँ मैं मलंग, मलंग, मलंग
मैं मलंग, हाय रे



Credits
Writer(s): Ved Sharma, Kunaal Verma, Harsh Limbachiya
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link