Confessions

यादें रोज़ आती हैं, आँखें रो जाती हैं
धड़कन उम्मीद लगा के अब तक तुझको चाहती है
बाँहों को करके सिरहाने पहले सो जाती थी
मेरी हो जाती थी, अब क्या सो पाती है

यादें रोज़ आती हैं, आँखें रो जाती हैं
धड़कन उम्मीद लगा के अब तक तुझको चाहती है
बाँहों को करके सिरहाने पहले सो जाती थी
मेरी हो जाती थी, अब क्या सो पाती है

आज हूँ जहाँ पे, कभी सोचा नहीं था
सपने होंगे पूरे, कभी सोचा नहीं था
कितना कुछ है बनाया फिर भी लगता है जैसे
चला था मैं काफ़ी लेकिन पहुँचा कहीं ना

लाखों लोग मेरे साथ लेकिन दोस्त कोई नहीं
तीन कैमरें हैं phone में पर दोस्त कोई नहीं
नाम के हैं दोस्त, close कोई नहीं
इनके साथ जब भी पिया मैनें, होश खोए नहीं
नहीं, नहीं, नहीं

अकेलापन मेरे घर में है
Therapist ने बोला कि "सब कुछ तेरे सर में है"
Therapist ने बोला, "मैं तेरी दोस्त जैसी हूँ"
पर पहला दोस्त नहीं जिस को दोस्ती के पैसे दूँ

पर सुनता भी तो कोई नहीं free में
कैसे बोलूँ जो हैं मेरे जी में
दुनिया बदलने चला था
मुझे ही बदल दिया किसी ने

तो आज बारिश में bike नहीं चलाता
आज मैं दोस्ती में भाई नहीं बनाता
आज जो शीशे में जम जाती धुँध
उस धुँध में मैं उँगली से sign नहीं बनाता

मैं कहीं ओर हूँ पर मैं वापस आना चाहता हूँ
मैं फिर से बिना damn दिए गाना गाना चाहता हूँ
मैं फिर से अपनी घटिया शायरी सुनाना चाहता हूँ
मैं छोटी-छोटी चीज़ों पे ख़ुशी मनाना चाहता हूँ

क्यूँ लगे सब कुछ मुश्किल इतना?
क्यूँ लगे डर होता ख़ुश-दिल जितना?
क्यूँ smile करने में लगती है मेहनत?
"तुम smile क्यूँ नहीं करते?" मुझे बार-बार कह मत

मैं ग़ुस्सा हूँ ख़ुद से, निकलता है तुझपे
फिर भी मुझे text करे सुबह उठ के
शायद मैं तेरे लायक नहीं हूँ
शायद तभी तुझसे रहता हूँ छुप के

यादें रोज़ आती हैं, आँखें रो जाती हैं
धड़कन उम्मीद लगा के अब तक तुझको चाहती है
बाँहों को करके सिरहाने पहले सो जाती थी
मेरी हो जाती थी, अब क्या सो पाती है

यादें रोज़ आती हैं, आँखें रो जाती हैं
धड़कन उम्मीद लगा के अब तक तुझको चाहती है
बाँहों को करके सिरहाने पहले सो जाती थी
मेरी हो जाती थी, अब क्या सो पाती है



Credits
Writer(s): Fotty Seven
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