Main Aaj Bolta Hoon

मैं आज बोलता हूँ, मैं तुझ को पूजता हूँ
मैं तुझ में छुप गया हूँ और ख़ुद को ढूँढता हूँ
मैं आज बोलती हूँ, मैं तुझ को पूजती हूँ
मैं तुझ में छुप गई हूँ और ख़ुद को ढूँढती हूँ
मैं आज बोलता हूँ...

ऐ, घटाओं, साथ देना, मौसम बदल ना जाए
कहीं मिलने की ख़ुशी में मेरा दम निकल ना जाए

आकर हमें भिगो दे, सावन को ढूँढता हूँ
मैं आज बोलती हूँ, मैं तुझ को पूजती हूँ
मैं तुझ में छुप गया हूँ और ख़ुद को ढूँढता हूँ
मैं आज बोलता हूँ...

तेरा प्यार ही तो पाया बेदर्द ज़िंदगी में
तेरा प्यार ही तो पाया बेदर्द ज़िंदगी में
हम खो गए हैं दोनों दिल की किसी गली में

तू मुझ को ढूँढता है, मैं तुझ को ढूँढती हूँ
मैं आज बोलता हूँ, मैं तुझ को पूजता हूँ
मैं तुझ में छुप गई हूँ और ख़ुद को ढूँढती हूँ
मैं आज बोलती हूँ...

ओ, दिलवावों की बस्ती में, आ, घूम के हम आएँ
बाँहों की मदद लेकर हम और सिमट जाएँ

जो बँध के नहीं टूटे, बंधन को ढूँढता हूँ
मैं आज बोलता हूँ, मैं तुझ को पूजता हूँ
मैं तुझ में छुप गया हूँ और ख़ुद को ढूँढता हूँ
मैं आज बोलती हूँ, मैं तुझ को पूजती हूँ
मैं तुझ में छुप गई हूँ और ख़ुद को ढूँढती हूँ
मैं आज बोलता हूँ...



Credits
Writer(s): Laxmikant Kudalkar, Sharma Pyarelal, Santosh Anand
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link