Madinay Kay Waali

मदीने के वाली मदीने बुलालो
ये पैगाम ले जा सबा जाते जाते
हां, पैगाम लाना मेरी हाजरी का
भरा है करम मेहरबान आते आते
मदीने के वाली मदीने बुलालो
ये पैगाम ले जा सबा जाते जाते

तेरे दर पे आऊ मै बन कर सवाली
रहे सामने तेरे रोज़े की जाली
रहे सामने तेरे रोज़े की जाली
गरीबो के मौला, यतीमों के वाली
बड़ी देर कर दी बुलाते बुलाते
मदीने के वाली मदीने बुलालो
ये पैगाम ले जा सबा जाते जाते

कभी खाना-ए-दिल में तशरीफ़ लाये
बड़ी देर से मुन्तज़िर है निगाहें
बड़ी देर से मुन्तज़िर है निगाहें
बड़ा साथ मेरा दिया आंसुओ ने
मेरे दिल का आंगन सजाते सजाते
मदीने के वाली मदीने बुलालो
ये पैगाम ले जा सबा जाते जाते

मै तेरी सखावत के कुर्बान जाऊं
मै क्यूँ ना तेरे दर पे दामन बिछाऊं
मै क्यूँ ना तेरे दर पे दामन बिछाऊं
तेरे हाथ थकते नहीं कमली वाले
करम के खजाने लुटाते लुटाते
मदीने के वाली मदीने बुलालो
ये पैगाम ले जा सबा जाते जाते

निगाहों में हो सब्ज़ गुम्बद के जलवे
लबों पर हो तेरी इनायत के नगमे
लबों पर हो तेरी इनायत के नगमे
शब्-ओ-रोज़ गुज़रे नियाज़ी के आक़ा
तेरा ज़िक्रे अनवर सुनाते सुनाते
मदीने के वाली मदीने बुलालो
ये पैगाम ले जा सबा जाते जाते
मदीने के वाली मदीने बुलालो
ये पैगाम ले जा सबा जाते जाते



Credits
Writer(s): Muhammad Irfan Akram
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