Aaj Phir Tum Pe

आज फिर तुम पे प्यार आया है
आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है

आज फिर तुम पे प्यार आया है
आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है

आज फिर तुम पे प्यार आया है
आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है

सामने तुम हो या है ख़ाब कोई
खुशनसीबी पे अपनी हैरान हूँ
तुम दयावान, देवता हो मेरे
तुम को पूजूँ कि तुम से प्यार करूँ?
तुम को पूजूँ कि तुम से प्यार करूँ?

मैंने क़िस्मत से तुमको पाया है
आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है

इस भरे शहर में अकेला था
इस भरे शहर में अकेला था
गुम था मैं ज़िंदगी के मेले में
तुम मिले तो पता मिला अपना
चाँद उतर आया मेरे सीने में

तुमको पाया तो खुद को पाया है
आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है

मेरी हर साँस पे समाए रहो
यही है रात-दिन दुआ मेरी
यही है रात-दिन दुआ मेरी
हर खुशी तुम से, ज़िंदगी तुम से
हर खुशी तुम से, ज़िंदगी तुम से
तुम्हीं उम्मीद, तुम वफ़ा मेरी

मैंने सब कुछ तुम्हीं से पाया है
आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है

आज फिर तुम पे प्यार आया है
आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है

आज फिर तुम पे प्यार आया है
बेहद और बेहिसाब आया है



Credits
Writer(s): Aziz Qaisi
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link