Sard Raaton Mein Yaar

सर्द रातों में यूँ दूर जाओ ना तुम
हे, सर्द रातों में यूँ दूर जाओ ना तुम
आग दिल में लगी, दिल जलाओ ना तुम
देखो, रात ये हसीं है, कैसी खिली चाँदनी है
ऐसे रूठो ना रूठो, ओ सनम

आह, सर्द रातों में यूँ दूर जाओ ना तुम
आग दिल में लगी, दिल जलाओ ना तुम

ठंडी-ठंडी हवाओं से उड़ता है ये आँचल
बेताब है बरसने को ज़ुल्फ़ों का ये बादल
एक तो रुत है ये दीवानी उसपे तेरी अदा
अपनी ऐसी अदाओं से यूँ करो ना पागल

तेरे प्यार का नशा है, नस-नस में चढ़ा है
ऐसे रूठो ना रूठो, ओ सनम

आह, सर्द रातों में यूँ दूर जाओ ना तुम
आग दिल में लगी, दिल जलाओ ना तुम

मदहोश है ये आलम, बहका-बहका समाँ
लड़खड़ाने लगी सनम धड़कनों की ज़ुबाँ
आ के बाँहों में थाम लो साँसों का ये तूफ़ाँ
बेकरारी बढ़ाओ ना, आ भी जाओ यहाँ

कैसी छाई बेख़ुदी है, प्यासी-प्यासी ज़िंदगी है
ऐसे रूठो ना रूठो, ओ सनम

ए, सर्द रातों में यूँ दूर जाओ ना तुम
आग दिल में लगी, दिल जलाओ ना तुम
देखो, रात ये हसीं है, कैसी खिली चाँदनी है
ऐसे रूठो ना रूठो, ओ सनम

आओ ना, सर्द रातों में यूँ दूर जाओ ना तुम
आग दिल में लगी, दिल जलाओ ना तुम



Credits
Writer(s): Sameer Sen, Dilip Sen, Mithilesh-maan Singh
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link