Janme Prabhu Shri Ram Dayala

जगमग-जगमग फैला उजाला
जन्मे प्रभु श्री राम दयाला
जगमग-जगमग फैला उजाला
जन्मे प्रभु श्री राम दयाला

विष्णु के अवतार तुम ही हो
विष्णु के अवतार तुम ही हो
सारे जग को सँभाला

जगमग-जगमग फैला उजाला
जन्मे प्रभु श्री राम दयाला
जगमग-जगमग फैला उजाला

कौशल्या के लाडले तुम हो, दशरथ के हो दुलारे
रानी सुमित्रा और कैकेयी के तुम हो आँख के तारे
धन्य हुआ रघुवंश ये तुम से, ओ, दशरथ के लाला

जगमग-जगमग फैला उजाला
जन्मे प्रभु श्री राम दयाला
जगमग-जगमग फैला उजाला

दशरथ के घर ख़ुशियाँ आईं, सजी अयोध्या नगरी
जग-कल्याण हेतु प्रभु जी जन्मे, लीला निराली तुम्हरी
मर्यादा सिखलाई जगत को, मन को बनाया शिवाला

जगमग-जगमग फैला उजाला
जन्मे प्रभु श्री राम दयाला
जगमग-जगमग फैला उजाला

लक्ष्मण, भरत, शत्रुघ्न जैसे भ्राता तुम ने पाए
जो जीवन भर तुम्हरे, प्रभु जी, आज्ञाकारी कहलाए
प्रेमभाव प्रभु रखते सबसे, हृदय ऐसा विशाला

जगमग-जगमग फैला उजाला
जन्मे प्रभु श्री राम दयाला
जगमग-जगमग फैला उजाला
जन्मे प्रभु श्री राम दयाला
जगमग-जगमग फैला उजाला



Credits
Writer(s): Ramlaxman, Vandana Verma
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