Shamma Jalti Rahi - Nazam

बीत गए जोगवा, पिहरवा
बीत गए जोगवा, पिहरवा

तुमरे मिलन की आस लगाए
तुमरे मिलन की आस लगाए
बीत गए जोगवा, पिहरवा

शम्मा जलती रही
रात ढलती रही
शम्मा जलती रही
रात ढलती रही

हम निगाहों से मोती लुटाते रहे
कतरा-कतरा पिघलती रही चाँदनी
कतरा-कतरा पिघलती रही चाँदनी
रात-भर तुम हमें याद आते रहे

शम्मा जलती रही

कैसे इस बात का हमको आए यकीं?
आपके दिल में उसका निशां तक नही
कैसे इस बात का हमको आए यकीं?
आपके दिल में उसका निशां तक नही

ज़िन्दगी भर मोहब्बत के जो दास्तां
ज़िन्दगी भर मोहब्बत के जो दास्तां
आप सुनते रहे, हम सुनाते रहे

शम्मा जलती रही

ऐ मेरे, हमनशीं, ऐ मेरे, हमनवा
तेरे गम का असर दिल पे ऐसा हुआ
ऐ मेरे, हमनशीं, ऐ मेरे, हमनवा
तेरे गम का असर दिल पे ऐसा हुआ

शम्मे आँखों की बुझ के धुआँ हो गई
शम्मे आँखों की बुझ के धुआँ हो गई
चंद आँसू मगर झिलमिलाते रहे

शम्मा जलती रही
रात ढलती रही
शम्मा जलती रही



Credits
Writer(s): Deepak Pandit, Manoj Muntashir
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link